राजधानी भोपाल में पहली बार ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (जीआईएस) 24 और 25 को होने जा रह है। इसमें देश विदेश के बड़े उद्योगपति और निवेशक शामिल होंगे। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि भोपाल में होने वाली ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (GIS) में शहरी विकास पर फोकस होगा। मध्यप्रदेश तेजी से शहरी बदलाव की दिशा में आगे बढ़ रहा है और इस समिट के दौरान स्मार्ट सिटी, मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर और डिजिटल गवर्नेंस को प्रमुख रूप से बढ़ावा दिया जाएगा। राज्य में शहरी परियोजनाओं पर 72 हजार करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं और अगले कुछ सालों में 88 हजार करोड़ रुपए की और परियोजनाओं की योजना है।
सीएम ने कहा कि प्रदेश में शहरी विकास के लिए ज्यादा से ज्यादा निवेश को बढ़ावा दिया जाएगा ताकि नागरिकों को आधुनिक सुविधाएं मिल सकें और रोजगार के मौके भी बढ़ें। मध्यप्रदेश को स्वच्छ भारत मिशन और स्मार्ट सिटी रैंकिंग में भी देश में अग्रणी माना गया है। प्रदेश में 7 स्मार्ट सिटी, 72 हजार करोड़ रुपए की शहरी परियोजनाओं के साथ तेजी से विकास हो रहा है। 88 हजार करोड़ रुपए की परियोजनाएं पाइपलाइन में हैं। इसके अलावा, प्रदेश में 8.32 लाख घरों का निर्माण पूरा हो चुका है और 10 लाख नए आवास बनाए जाएंगे।
स्वच्छ भारत सर्वेक्षण 2023 में मध्यप्रदेश ने शानदार प्रदर्शन किया है, जहां इंदौर ने लगातार सातवीं बार देश के सबसे स्वच्छ शहर का दर्जा प्राप्त किया है और भोपाल को पांचवां स्थान मिला है। प्रदेश में कई योजनाएं जैसे 'एमपी री-डेंसिफिकेशन पॉलिसी' और 'ईवी पॉलिसी 2025' के तहत शहरी विकास को बढ़ावा दिया जा रहा है। इसके अलावा, प्रदेश में उन्नत सड़क नेटवर्क और रेलवे कनेक्टिविटी भी निवेशकों के लिए सुविधाजनक रहेगी। प्रदेश में एकीकरण के साथ बुनियादी ढांचा तैयार किया जा रहा है। आने वाले समय में मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क, बेहतर कनेक्टिविटी और स्मार्ट सिटी परियोजनाओं से मध्यप्रदेश एक आदर्श राज्य बनेगा, जहां निवेशकों के लिए अनुकूल माहौल होगा।
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