उमरिया। बाघों के लिए देशभर में प्रसिद्ध बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में एक बार फिर से बारहसिंघों को बसाने की कोशिश की जा रही है। वन मंत्री और बीटीआर प्रबंधन इसके लगातार प्रयास कर रहा है। इसी कड़ी में दूसरी खेप में मंडला जिले के कान्हा राष्ट्रीय उद्यान से 16 मादा और दो नर बारहसिंघा लेकर उमरिया बांधवगढ़ के लिए स्पेशल वाहन से एसडीओ सुधीर मिश्रा और धमोखर रेंजर व्ही के श्रीवास्तव की निगरानी में टीम शाम को रवाना हुई थी। जिसको आज सोमवार को बांधवगढ़ के मगधी जोन में छोड़ा गया। इसके पहले 19 बारहसिंघा पहले खेप में 26 मार्च को छोड़े गए थे, जिसमें 11 नर और 8 मादा बारहसिंघा शामिल थे। पहले मगधी जोन में बने इनक्लोजर (बाड़े) में बारहसिंघा को छोड़ा गया था, जहाँ ये फल फूल रहे हैं और कई दशकों बाद बांधवगढ़ टाईगर रिजर्व की शोभा बढ़ा रहे हैं।
अब तक कुल 37 बारहसिंघों को कान्हा
से बांधवगढ़ लाया जा चुका है। कुल 100 नर, मादा
बारहसिंघों को कान्हा से लाकर बांधवगढ़ में बसाया जायेगा और जैसे जैसे इनकी आबादी बढ़ती
जाएगी, इन्हें इनक्लोजर से धीरे धीरे निकाल कर खुले जंगलों में छोड़ा जाएगा। जो पर्यटकों
को आकर्षित करेंगे और बांधवगढ़ की सुंदरता को बढ़ाएंगे।
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