इंदौर में ट्रैफिक जाम की वजह से लगातार परेशानियां बढ़ती जा रही हैं। इंदौर आने वाले पर्यटक, जनप्रतिनिधि और विदेशी नागरिक भी यहां के खानपान, स्वच्छता की तारीफ के बीच ट्रैफिक जाम को कम करने की बात रख रहे हैं। पिछले कुछ साल में प्रशासन और सरकार ने कई योजनाएं बनाई हैं लेकिन सुधार के बजाय ट्रैफिक जाम बढ़ता ही नजर आया है। अब इसे सुधारने के लिए प्रदेश स्तर से योजना बनाई जाएगी।
कलेक्टर आशीष सिंह ने बताया कि इंदौर में ट्रैफिक सुधारना हमारी पहली प्राथमिकता है। हाल ही में प्रदेश के डीजीपी कैलाश मकवाना से उनकी मुलाकात हुई जिसमें उन्होंने कहा कि अब पुलिस प्रशासन के लिए भी इंदौर का ट्रैफिक जाम सबसे बड़ी चुनौती बनता जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसके लिए अब कई स्तर पर रणनीति बनेगी और हर रणनीति के परिणामों की पूरी समीक्षा की जाएगी। कलेक्टर आशीष सिंह ने बताया कि ट्रैफिक जाम को कम करने के लिए क्या सुझाव हो सकते हैं इसके लिए भी बैठकें करेंगे।
इंदौर में 32 से अधिक चौराहों पर सीसीटीवी कैमरे लग गए हैं। वाहन चालकों की गलती को कैमरे कैद कर लेते हैं और आनलाइन चालान जनरेट हो जाता है। इसी वजह स चौराहों से ट्रैफिक पुलिस हटा दी गई है। ट्रैफिक पुलिस हटने की वजह से भी लगातार जाम बढ़ रहा है। लोग मनमानी करते हैं और कहीं से भी गाड़ी निकालने लगते हैं। प्रशासन को जनता की तरह से यह फीडबैक कई बार दिया जा चुका है, जिस पर भी विचार किया जा रहा है।
इन क्षेत्रों में लगता है सबसे अधिक जाम
बायपास पर बने अंडर पास, मेट्रो का पूरा रूट, लवकुश ब्रिज, जवाहर मार्ग, सांवेर रोड, खजराना
इन चौराहों पर भी परेशानी
बड़ा गणपति, गोपुर, देवास नाका, बॉम्बे हॉस्पिटल, पाटनीपुरा, रसोमा, गीता भवन, मधुमिलन, मालवा मिल, यशवंत निवास रोड, आर एस भंडारी रोड, राजीव गांधी चौराहा, भंवरकुआं, आइटी पार्क, विजय नगर, लवकुश चौराहा, बापट चौराहा, नौलखा सहित अन्य चौराहों में इंजीनयरिंग खामी है।
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